सदर अस्पताल में मनाया गया अंतर्राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य दिवस
सदर अस्पताल में मनाया गया अंतर्राष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य दिवस
-मानसिक तनाव से बचने के बारे में दी गई जानकारी
P9bihar news
प्रमोद कुमार
मोतिहारी,
जिले के सदर अस्पताल समेत कई स्थानों पर विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस के अवसर पर कार्यक्रम आयोजित किया गया। सदर अस्पताल में डीएस डॉ एसएन सिंह ने सदर अस्पताल में उपस्थित लोगों के बीच मानसिक स्वास्थ्य के विषय में महत्वपूर्ण जानकारी दी। डीएस डॉ सिंह ने बताया कि प्रत्येक वर्ष 10 अक्टूबर को मानसिक स्वास्थ्य केंद्र पर “अंतरराष्ट्रीय मानसिक स्वास्थ्य दिवस” का आयोजन किया जाता है। उन्होंने बताया कि जिले में मानसिक रोगियों की संख्या बढ़ रही है, मानसिक रोगियों के उचित इलाज व देखभाल से उनकी बीमारी को कंट्रोल किया जा सकता है। उन्होंने बताया कि स्वस्थ जीवनशैली व तनाव मुक्त होकर कर मानसिक रोग से बचा जा सकता है। मानसिक रोग और उसके इलाज को लेकर लोगों को जागरूक होने की जरूरत है।
जीवन से अनावश्यक तनाव को दूर करना जरूरी-
डॉ. मुकेश कुमार ने बताया कि तनावग्रस्त जीवनशैली एवं बिगड़ते मानसिक स्वास्थ्य को ध्यान में रखते जागरूकता जरूरी है। उन्होंने बताया कि अस्पताल में आने वाले मरीजों को मानसिक तनाव से बचने के बारे में काउंसिलिंग की जाती है ताकि मानसिक तनाव से बच कर वे स्वस्थ जीवन जी सकें। उन्होंने बताया कि तनाव किसी भी समस्या का हल नहीं होता बल्कि यह कई अन्य समस्याओं को जन्म देता है। तनाव आपको अत्यधिक सिरदर्द, माइग्रेन, उच्च या निम्न रक्तचाप, आपका स्वभाव चिड़चिड़ा कर सकता है, इससे बचने के लिए तनाव पैदा करने वाले अनावश्यक कारणों को जीवन से दूर करना जरूरी है।
बैनर पोस्टर के माध्यम से किया जाएगा जागरूक-
इस मौके पर पैनल अधिवक्ता राजेश कुमार, पी एल वी कालीचरण पाठक व डीएस ने बताया कि मानसिक तनाव से बचाव के बारे में लोगों को स्वास्थ्य संस्थानों पर बैनर-पोस्टर, हैंडबिल, पम्पलेट के माध्यम से जागरूक किया गया।
नि:शुल्क मानसिक स्वास्थ्य संबंधित परामर्श की है सुविधा-
डीएस डॉ एस एन सिंह ने बताया कि सदर अस्पताल समेत कई स्वास्थ्य केन्द्र पर नि:शुल्क मानसिक स्वास्थ्य संबंधित परामर्श की सुविधा उपलब्ध है। जहाँ रोगी मानसिक स्वास्थ्य संबंधित परामर्श ले सकते है।
ये लक्षण दिखें तो ले सलाह:
- स्पष्ट रूप से सोचने और दैनिक कार्यकलापों को करने में कठिनाई
- बार-बार एवं गलत , नकारात्मक विचारों का आना
- आदत, मन एवं एकाग्रता में अचानक परिवर्तन का होना
- वैसी चीजों को देखना और सुनना जो आस-पास मौजूद नहीं है
- आत्महत्या का विचार आना अथवा आत्महत्या करने का प्रयास करना
- क्रोध, भय, चिंता, अपराध बोल, उदासी या खुशी की लगातार अनुभूति
- बिना चिकित्सीय सलाह के औषधियों का अत्यधिक सेवन।