आंगनबाड़ी केंद्रों पर हुई बच्चों की स्वास्थ्य जाँच

आंगनबाड़ी केंद्रों पर हुई बच्चों की स्वास्थ्य जाँच

आंगनबाड़ी केंद्रों पर हुई बच्चों की स्वास्थ्य जाँच

- आरबीएसके चिकिसकों द्वारा 98 से अधिक बच्चों की हुई स्वास्थ्य की जाँच

प्रमोद कुमार 


मोतिहारी,पू०च०। 
राष्ट्रीय बाल स्वास्थ्य कार्यक्रम द्वारा बच्चों के स्वास्थ्य की जाँच व कुपोषण से बचाव को चिकित्सकों को आदेश दिए गए हैं। जिसके तहत जिलेभर के कई आंगनबाड़ी केंद्रों के साथ अन्य सामुदायिक क्षेत्रों में चिकित्सकों द्वारा बच्चों के सम्पूर्ण स्वास्थ्य की जाँच की जा रही है।

इसी क्रम में शुक्रवार को मोतिहारी सदर प्रखंड के रुलही, बसमनपुर के कई वार्ड में कैम्प लगाकर बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। ताकि बच्चों में कुपोषण की जांच समय पर की जा सके।आंगनबाड़ी केंद्र पर कुपोषण मुक्त अभियान के तहत स्वास्थ्य परीक्षण शिविर का आयोजन किया गया। ताकि सरकार की मंशा के अनुसार बच्चों को कुपोषण से मुक्त किया जा सके।डा. शिल्पी श्रीवास्तव, डॉ ख़ालिद अख्तर व डॉ अरुण कुमार सिंह द्वारा इस मौके पर 98 से ज्यादा बच्चों का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया।

बच्चों के स्वास्थ्य जाँच के दौरान ही एक बच्चा जो  रुलही वार्ड नंबर 10 आंगनबाड़ी केंद्र संख्या 194 में हार्निया और हाइड्रोसील की बीमारी से पीड़ित पाया गया । जिसका आरबीएसके चिकित्सकों द्वारा रूटीन चेकअप किया गया। उसके बाद आरबीएसके चिकित्सक डॉ खालिद अख्तर ने बताया आरबीएसके टीम के द्वारा 0 से 6 वर्ष तक के बच्चों की समय-समय पर रूटीन चेकअप की जाती है।

जिसमें कई प्रकार की बीमारियां देखने को मिलती है। इस प्रकार की बीमारियों के इलाज के लिए उन्हें सदर अस्पताल मोतिहारी में रेफर किया जाता है। इसके बाद वैसे बच्चों की सरकार की तरफ से मुफ्त इलाज की व्यवस्था की जाती है। वहीं आरबीएसके जिला समन्वयक डॉ मनीष कुमार ने बताया कि जिले में गंभीर मामले होने पर वैसे बच्चों को आईजीएमएस पटना रेफर भी किया जाता है।

ताकि बेहतर इलाज की सुविधा उपलब्ध हो सके। उन्होंने बताया कि यह बच्चा अजित कुमार  लगभग 4 वर्ष का है। इसके पिता का नाम दिनेश व माता का नाम हेमन्ती देवी है - जो रुलही ग्राम के निवासी हैं। इसके बच्चे में जन्मजात हार्निया और हाइड्रोसील की बीमारी थी। जो मोतिहारी के कई जगह इलाज कराने के बाद भी ठीक नहीं हुआ। बाद में आरबीएसके टीम के द्वारा और आशा सरस्वती देवी के द्वारा भी सहयोग किया गया।

डॉ खालिद ने बताया कि बच्चे की बीमारी का पता लगा उसके बाद इसे सदर अस्पताल रेफर किया गया है । जल्द ही इस बच्चे का ऑपरेशन कर उसे ठीक किया जाएगा।मोतिहारी आरबीएसके चिकित्सक डॉ मनीष कुमार ने बताया कि बच्चों की गंभीर बीमारी में आरबीएसके की अहम भूमिका है।सिविल सर्जन डॉ अंजनी कुमार ने कहा आरबीएसके के तरत 41 तरह की बीमारियों का इलाज होता है। जो बिल्कुल ही नि:शुल्क है।