एमजीसीयू में आजादी का अमृत महोत्सव पर विशेष कार्यक्रम आयोजित
प्रमोद कुमार
मोतिहारी,पू०च०।
1917 के चंपारण सत्याग्रह के गौरवशाली इतिहास की याद में और ब्रिटिश भारत में महात्मा गांधी के नेतृत्व में पहला सफल सत्याग्रह आंदोलन पर विशेष कार्यक्रम महात्मा गांधी केंद्रीय विश्वविद्यालय के बनकट स्थित महात्मा बुद्ध परिसर के वृहस्पति सभागार में 'आज़ादी का अमृत महोत्सव: चंपारण सत्याग्रह की यादें' आयोजित हुई '।
कार्यक्रम विश्वविद्यालय के कुलाधिपति डॉ. महेश शर्मा की अध्यक्षता में किया गया। मुख्य अतिथि बिहार सरकार में गन्ना ,उद्योग मंत्री और कानून मंत्री प्रमोद कुमार थे।
विशिष्ट अतिथि किरण घई सिन्हा, बिहार विधान परिषद की सदस्य एवं विश्वविद्यालय की कार्यकारी परिषद की सदस्य थी।प्रसिद्ध गांधीवादी विचारक ब्रज किशोर सिंह की गरिमामयी उपस्थिति रही।कार्यक्रम के प्रारम्भ में कुलपति प्रो. आनंद प्रकाश ने सम्मानित अतिथियों का स्वागत किया। अपने स्वागत भाषण में कुलपति ने कहा कि यह एक शुभ क्षण और एक महान सम्मान की बात है कि ऐसे प्रतिष्ठित व्यक्तियों की उपस्थिति है
जिनके अमूल्य मार्गदर्शन, समर्थन और योगदान ने हमें हमेशा प्रेरित किया है और विश्वविद्यालय को आगे बढ़ाया है। प्रमोद कुमार ने अपने संबोधन में कहा कि आजादी का अमृत महोत्सव का असली सार यह महसूस करना है कि राष्ट्र एकजुट होकर ही समृद्ध हो सकता है। उन्होंने कहा कि व्यक्तिगत लाभ पर ध्यान केंद्रित करने की बजाय हमारे पास निःस्वार्थ भाव से राष्ट्र की सेवा करने की भावना होनी चाहिए। उन्होंने पिछले कुछ वर्षों में विश्वविद्यालय द्वारा की गई प्रगति की भी प्रशंसा की और छात्रों, शिक्षकों और प्रशासनिक अधिकारियों को आश्वासन दिया
कि एमजीसीयूबी को भारत सरकार और बिहार सरकार का पूरा समर्थन है।प्रो. किरण घई सिन्हा ने चंपारण सत्याग्रह के इतिहास को खूबसूरती से बयां किया। उन्होंने स्वतंत्रता सेनानियों की अटूट वीरता को सलाम किया और ऐसे कार्यक्रमों को लगातार आयोजित करने के लिए विश्वविद्यालय को बधाई दी।अपने संबोधन में कुलाधिपति पदम् श्री डॉ. महेश शर्मा ने स्थानीय भागीदारी के महत्व पर प्रकाश डाला।
उन्होंने समुदाय के साथ सौहार्दपूर्ण संबंध बनाने और समृद्धि के मार्ग की ओर हाथ से चलने की आवश्यकता पर जोर दिया। सांस्कृतिक कार्यक्रम का भी आयोजन किया गया।कार्यक्रम में विश्वविद्यालय के अधिकारियों, शिक्षकों एवं छात्र-छत्राओं के उपस्थिति रही।