मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के जिलाध्यक्षों की उपस्थिति में किया गया ईवीएम का प्रथम रेंडमाइजेशन
मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के जिलाध्यक्षों की उपस्थिति में किया गया ईवीएम का प्रथम रेंडमाइजेशन
P9bihar news
प्रदीप कुमार यादव
मोतिहारी।
जिला निर्वाचन पदाधिकारी- सह-जिलाधिकारी, पूर्वी चंपारण के द्वारा समाहरणालय स्थित एनआईसी में मान्यता प्राप्त राजनैतिक दलों के जिलाध्यक्ष/ सचिव/प्रतिनिधियों की उपस्थिति में पूर्ण पारदर्शिता के साथ लोकसभा निर्वाचन में प्रयुक्त होने वाले ईवीएम का प्रथम रेंडमाइजेशन कार्य संपन्न कराया गया।
इस रेंडमाइजेशन में ईवीएम-वीवीपेट को विधानसभा वार मार्क कर दिया गया। इसके बाद ये ईवीएम अब विधानसभावार बनाए गए डिस्पैच सेंटर पर भेजे जाएंगे जहां इनका दूसरा रेंडमाइजेशन कराया जाएगा। दूसरा रेंडमाइजेशन भी राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों की उपस्थिति में कराई जाएगी।
इस अवसर पर जिलाधिकारी ने राजनैतिक दलों के प्रतिनिधियों को रेंडमाइजेशन की पूरी प्रक्रिया बताई और रेंडमाइजेशन के बाद निकाले गए सीट पर सभी का हस्ताक्षर प्राप्त किया गया।इस अवसर पर जिलाधिकारी ने बताया कि 29 अप्रैल को 03- पूर्वी चंपारण एवं 04-शिवहर लोकसभा के लिए अधिसूचना जारी होगी और उसी के साथ नामांकन प्रक्रिया प्रारंभ हो जाएगा।
यह नामांकन 06मई तक चलेगा। उन्होंने कहा कि नामांकन पत्र भरते समय अभ्यर्थी का फोटो एवं बैंक अकाउंट देना जरूरी है। डीएम ने कहा कि नामांकन पत्र एवं शपथ पत्र का कोई भी कालम खाली नहीं छोड़ता है। सभी कालम भरा होना चाहिए। अगर कोई कालम भरा हुआ नही पाया जाएगा तो इसके लिए नोटिस किया जाएगा और फिर पूर्ण रूप से भरा हुआ शपथ पत्र जमा करना होगा।
नोटिस एक बार ही किया जाएगा।डीएम ने कहा कि प्रस्तावक का नाम और मतदाता सूची में उसका क्रम संख्या देना जरूरी है। उन्होंने कहा कि कार्यालय, घर या बंद परिसर को छोड़कर खुले में सभा करने या जुलूस निकालने के लिए अनुमति लेनी जरूरी है। यह नियम लाउडस्पीकर के मामले में भी लागू है। उन्होंने कहा कि आवेदन प्राप्त होने की 1 घंटे के अंदर अनुमति दे दी जाएगी।
डीएम ने कहा कि नामांकन के समय समाहरणालय परिसर में केवल तीन गाड़ियों के प्रवेश की ही अनुमति रहेगी तथा प्रत्याशी सहित कुल पांच लोग ही निर्वाची पदाधिकारी के कार्यालय में नामांकन के लिए जा सकते हैं।
डीएम ने कहा की मर्यादा को ध्यान में रखते हुए अच्छे से प्रचार प्रसार करें। इसका मतदाताओं पर सकारात्मक असर पड़ेगा और जिला में वोटर टर्न आउट भी बढ़ेगा जो लोकतंत्र की मजबूती के लिए जरूरी है।