बच्चे भी भगवान के रूप होते हैं अर्थात श्रीकृष्णा जन्माष्टमी महोत्सव

बच्चे भी भगवान के रूप होते हैं अर्थात श्रीकृष्णा जन्माष्टमी महोत्सव

बच्चे भी भगवान के रूप होते हैं अर्थात श्रीकृष्णा जन्माष्टमी महोत्सव

P9bihar news 

सत्येन्द्र कुमार शर्मा
प्रधान संपादक।

बच्चे भगवान के रूप होते हैं। अक्सर लोगों कहते हुए सुना जाता है। अर्थात श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर कृष्ण रुप मेंं अपने बच्चे को कृष्ण के परिधान में सजा धजा व संवारकर संचार माध्यम खासकर सोशल मीडिया पर प्रसारित करने का सिलसिला तेज होता जा रहा है। ऐसे ही एक बच्चा सूर्यांश जो तकरीबन एक वर्ष था बच्चे को कृष्ण के परिधान को धारण कराकर हांथ में श्रीकृष्ण के बांसुरी को पकड़ा दिया गया।

बांसुरी हाथ में लेकर सूर्यांश कृष्ण के बाल लिलाओं को दर्शाने के लिए उतना ही तत्पर दिखाई पड़ता है। बच्चा कृष्ण के मुकुट बांसुरी लेकर खुश है वहीं उसके परिजनों भी अपने बच्चे में कृष्ण रूप देखकर खुशहाल व हर्षोलासित भी हैं। श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर प्राय: सभी लोग दिन भर फलाहारी रह कर श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव के समय पूजा अर्चना कर प्रसाद ग्रहण करते है।

परम्परागत ढंग से श्रीकृष्ण जन्माष्टमी पर्व को आज गृहस्थ परिवार द्वारा मनाया जा रहा है जबकि साधु एक दिन बाद अपनी योग साधना से कृष्ण रुप में भगवान के अवतरित होने की जानकारी पर दूसरे दिन मनाते रहे हैं। बच्चा श्रीकृष्ण रुप धारण कर खुश हैं तो परिजन श्रीकृष्ण रुप को देख कर खुश हो जाते हैं।